संभल का ऐतिहासिक महत्व

संभल, एक ऐसा शहर जो इतिहास और धर्म से गहराई से जुड़ा है।  यह शहर न केवल महाराणा प्रताप की विरासत के लिए बल्कि कल्कि अवतार की भविष्यवाणी के लिए भी प्रसिद्ध है।

महाराणा प्रताप और संभल का संबंध 

संभल ने महाराणा प्रताप के जन्मदिन को गर्व से मनाया है, इस शहर में उनकी विरासत का जश्न मनाना संभल की ऐतिहासिक गहराई को दर्शाता है। 

संभल और कल्कि अवतार की भविष्यवाणी 

संभल को हिंदू धर्म में कल्कि अवतार की भविष्यवाणी के लिए पवित्र माना जाता है। यह माना जाता है कि कलियुग के अंत में भगवान विष्णु यहां कल्कि के रूप में जन्म लेंगे, जो धर्म की स्थापना करेंगे।

संभल में ऐतिहासिक युद्ध 

संभल दो प्रसिद्ध युद्धों के लिए भी जाना जाता है, जिनमें से एक पृथ्वीराज चौहान और गाजी सैयद सालार मसूद के बीच हुआ था। 

संभल में 46 साल बाद खुला हनुमान मंदिर 

सैकड़ों श्रद्धालुओं ने किए दर्शन-पूजन. संभल में 46 साल बाद खुले बजरंगबली के मंदिर के कपाट खुल गए हैं। 

संभल में मिला प्राचीन शिव मंदिर  

स्लिम आबादी में 46 साल बाद खुले शिव मंदिर के कपाट, 1978 के दंगे के बाद हिंदुओं ने छोड़ा था इलाका ।

हाल ही में खोजा गया मां चामुंडा धाम  

30 साल से दीवारों में कैद था, चामुंडा देवी मंदिर।

जामा मस्जिद बनाम हरिहर मंदिर विवाद

संभल की ऐतिहासिक शाही जामा मस्जिद के हरिहर मंदिर होने के दावे पर चल रहे विवाद के कारण संभल सुर्ख़ियों मे है।